Monday, December 2, 2019

उदासी मेरी मातृभाषा है


       उदासी मेरी मातृभाषा है 
हँसी की भाषा मैंने तमाम विदेशी भाषाओं की तरह
ज़िन्दगी चलाने के लिए सीखी है.


कविता की किताब  "उदासी मेरी मातृभाषा है "  अब ऑनलाइन खरीदने के लिए उपलब्ध है. ख़रीदने के लिए अमेज़ान और वाणी प्रकाशन की साईट के लिंक नीचे हैं. चाहें तो आप दिख रही तस्वीर पर भी क्लीक कर सकते हैं.

अमेज़ान में किताब

वाणी प्रकाशन में.

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अगर पढ़ें तो अपने विचार ज़रूर बताएं.

- लवली गोस्वामी.

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